कहानियां तो छोटे मोटे राजा लोगों की लिखी जाती है हम तो राजपूत है हमारा तो इतिहास लिखा जाएगा.
राजपूत का इतिहास मिटाना नामुमकिन है क्योंकि यह कलम से नहीं बल्कि तलवारों से लिखा गया है.
जात का हु राजपूत में, ना राग द्वेष रखता हूं, जे छेड़गा तू मने तो चीर फाड के धर देंगे।
हमारे जीने का तरीका थोड़ा अलग है,” हम उमीद पर नहीं अपनी जिद पर जीते है !!
कोई अपने आप को बादशाह समझता है तो कोई एक्का अरे जाकर बोल दो उस बादशाह और _एक्के से..राजपूत की एंट्री हो चुकी है।
जो शेर से लड़ जाता है उसका खून लाल होता है
जो मौत को ललकारे वो खून राजपूत का होता है !